Tuesday 28 June 2011

QUOTES for WOMEN

QUOTES for WOMEN
"Because I am a woman, I must make unusual efforts to succeed.
 If I fail, no one will say, She doesn't have what it takes.
 They will say, Women don't have what it takes."
"Women marry men hoping they will change. Men marry women hoping they will not. So each is inevitably disappointed."

"Ah, women. They make the highs higher and the lows more frequent."

"A woman should soften but not weaken a man."

"Women speak two languages - one of which is verbal."

"Woman begins by resisting a man's advances and ends up blocking his retreat."

"Anyone who says he can see through women is missing a lot."

"Even the wisest men make fools of themselves about women,
 and even the most foolish women are wise about man"

Ladki "a one girl"

a GIRL is quiet ...



millions of things are running in her mind.


When a GIRL is not arguing ...

she is thinking deeply.



When a GIRL looks at u with eyes full of questions ... she is wondering how
long you will be around.



When a GIRL answers ' I'm fine ' after a few seconds ... she is not at all
fine.

When a GIRL stares at you she is wondering why you are lying.



When a GIRL lays on your chest .. she is wishing for you to be hers forever.



When a GIRL wants to see you everyday... she wants to be pampered.



When a GIRL says ' I love you ' .. she means it.



When a GIRL says ' I miss you ' .... no one in this world can miss you more than
that.



Life only comes around once make sure u spend it with the right person ....



Find a guy .. who calls you beautiful instead of hot.

who calls you back when you hang up on him.

who will stay awake just to watch you sleep. Wait for the guy who ..... kisses
your forehead.

Who wants to show you off to the world when you are in your sweats.

    

Tuesday 21 June 2011

NO MORE EVE TEASING

                                                      
इलाहाबाद हाई कोर्ट ने लड़कियों के पक्ष में एक अच्छा कदम उठाते हुवे ईव TEASING जैसे मामलो में सक्त दंड की सिफारिश की है .सिफारिश के तहत कहा गया है इसे नॉन बेलेबल बनाया जाये ताकि सिरफरे आशिको के नकेल कासी कसी जा सके ...नेशनल क्राइम ब्रांच के हाल के आक्रोड़ो पर नज़र डाले तो अजीब नतीजे सामने आयेंगे . नॉर्थ इंडिया में हाल वर्षो में छेड़खानी के मामले अचानक बढ़ गए हैं . इसके बाद दिल्ली का नंबर आता है. अधिकतर मामलो में समाज और लाज शर्म के डर से गर्ल अपनी complain पुलिस तक ले जाने में घबराती हैं .
अगर complain पुलिस तक ले भी है तो अब तक के मोजूदा कानून में छेड़खानी को लेकर आसान से सज़ा का ही कानून है . इलाहाबाद हाई कोर्ट ने ईव TEASING को काफी सगीन मानते हुवे केंद्र सरकार से इसके लिए कड़ी सज़ा की सिफारिश की है और नॉन बेलेबल करने का सुझाव दिया है . यह सही है कि इव teasing को लेकर भविष में कड़ी सज़ा का कानून होता है तो इससे लड़कियों का मनोबल बढेगा और छेड़खानी करने वालो में भी डर बैठेगा , लेकिन कहीं इसके भी साइड एफ्फेक्ट देखने को न मिल जाये इसका भी ध्यान रखना होगा .
married women के welfair के लिए इसी तरह का एक कानून dowry एक्ट (दहेज़ कानून ) है .इसके तहत भी अगर महिला complain कर देती है तो बिना किसी execuse के पति और उसके साथ जिन लोगो के नाम complain हैं उन्हें अरेस्ट कर लिया जाता है .इस कानून का उपयोग तो हुवा ही दुरूपयोग भी कम नहीं हुवा है .ऐसी हालत में इलाहाबाद हाई कोर्ट का कदम सराहनीय है .इसका welcome भी किया जाना चाहिए लेकिन साथ ही इसके तमाम तरह के साइड एफ्फेक्ट के बारे में भी सोचे जाने कि जरूरत है ताकि भविष में इस कानून के misuse को लेकर कोई बहस न उठ खड़ी हो .......sumbul
                               

Save Girl Child | Save The Girl Child | Save Girl Child In India: Save Girl Child

Save Girl Child | Save The Girl Child | Save Girl Child In India: Save Girl Child: "Welcome to the world of save girl child , promising yet gloomy, hopeful, yet in despair. The hand that roc..."

Monday 20 June 2011

लड़की बचाओ इज्ज़त बचाओ

सदी के महा नायक कहे जाने वाले बिग बी याने अमिताभ बच्चन ने लड़कियों को बराबरी का दर्जा देने की वकालत की है. उन्होंने यह तर्क दिया कि बेटियां बेशक पराया धन हैं लेकिन उनकी परवरिश और उनके करियर को लेकर पैरेंट्स में वही चिन्ता होनी चाहिए ,जो बेटे को लेकर  होती है  . उन्होंने अपनी बेटी श्वेता के बारे में भी यही कहा कि उन्होंने अभिषेक और श्वेता में कोई फर्क नहीं समझा और दोनों को एक जैसा प्यार दिया है . बिग बी कि यह वकालत अच्छी बात है .
वैसे बदलते वक़्त में अब बेटी और बेटे में कोई ज्यादा फर्क नहीं किया जा रहा है बल्कि हजारो एक्साम्पल ऐसे हैं जहा बेटों से बढकर बेटियां हैं पैरेंट्स भी सीना तानकर  बोलते हैं उनकी बेटी बेमिसाल है .यह फर्क सिर्फ उसी समाज में बचा है , जहाँ गरीबी अधीक हो ... बेटियों का महत्व बढ़  रहा है इसका अंदाज़ा इस बात से लगाया जा सकता है है कि तमाम लोग ऐसे हैं , जिनकी एक मात्र संतान बेटी है . दो बेटी वाले फॅमिली भी काफी ज्यादा हैं . इसलिये अब बेटा और बेटी जैसी बहस आ गयी . लेकिन एक और बड़ा सवाल "सुरसा" कि तरहा मुह  फैला खड़ा पड़ा ही , उसका जवाब सोसाइटी को देना ही होगा . पैरेंट्स के लिए जहाँ बेटा और बेटी का फर्क घटता  जा रहा है , वहीँ  सोसाइटी की मेंटालिटी में यह डिस्टेंस बढ़ने लगी है . अगर ऐसा न होता तो शायद इतनी तेज़ी से लडकिया के साथ क्राइम की वारदाते न ज्यादा होतीं ..पिछले दस साल के क्राइम ग्राफ में लड़कियां -महिलाओं के साथ रेप ,मर्डर , तेज़ाब से जलाने जैसी घटनायो का  इजाफा हुआ है .
जितनी तेज़ी से लड़कियों की सोच बदल रही है उतने ही तेज़ी से उन पर होने वाले अपराधो की शक्ल भी बदल रहे है . कभी पुलिस स्टेशन में , तो कभी नेता जी के बंगले पैर और कभी भरे बाज़ार  से उठाकर लड़की के साथ रेप  किया जा रहा है  इतना ही नहीं उसकी आवाज़ को भी हमेशा के लिए खामोश किया जा रहा है . ज़रूरत है तो सोसाइटी की लड़कियों के प्रति इसी कूर सोच को बदलने की है . बेटा-बेटी के बीच तो फर्क का घट ही गया है क्या युवक और युवती के बीच का अंतर भी घट पायेगा .
इन सवालों के उत्तर के लिए बिग बी ही नहीं सोसाइटी के तमाम महानायक को सामने होगा और पहल करनी होगी to save girl to save honour